Pensioners pension, Pension Rule, Employees Pension, CCS Pension Rule : मोदी सरकार द्वारा कर्मचारियों को बड़ी राहत दी गई है। उनके पेंशन नियम में बदलाव किया गया है। केंद्रीय सिविल सेवा पेंशन नियम 2021 में संशोधन किया गया है।
जिसके तहत कर्मचारियों को पारिवारिक पेंशन के लिए अपने पति को नामित करने की प्रथा से मुक्ति मिल सकती है।
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दरअसल, अब महिला कर्मचारी अपने बेटे या बेटी को भी पारिवारिक पेंशन के लिए नामांकित कर सकती है। उन्हें इसका अधिकार दिया गया है।
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Employees Pension ; केंद्रीय सिविल सेवा पेंशन नियम 2021 में संशोधन
बता दे लोकसभा चुनाव से पहले लगातार कर्मचारियों को साधने की कोशिश की जा रही है। महिला कर्मचारियों को बड़े तोहफा देते हुए केंद्रीय सिविल सेवा पेंशन नियम 2021 में संशोधन किया गया।
जिसके तहत महिला कर्मचारी को पारिवारिक पेंशन के लिए अपने पति को नामित करने की आवश्यकता नहीं है। वह यदि चाहे तो अपने बेटे या बेटी को पारिवारिक पेंशन के लिए नामित कर सकती है।
इससे महिला कर्मचारी अथवा पेंशनर्स को अपने पति या पत्नी के स्थान पर बच्चों को पारिवारिक पेंशन देने का लाभ मिल सकेगा।
Employees Pension : बच्चे को कर्मियों के निधन के बाद पारिवारिक पेंशन दिए जाने की अनुमति
केंद्रीय विज्ञान और प्रौद्योगिकी राज्य मंत्री प्रधानमंत्री कार्यालय कार्मिक लोक शिकायत पेंशन राज्य मंत्री जितेंद्र सिंह द्वारा पेंशन और पेंशन भोगी कल्याण विभाग ने सिविल सेवा पेंशन नियम 2021 में संशोधन प्रस्तुत किया है।
जिसमें महिला सरकारी कर्मचारी और पेंशनर्स को अपने पति या पत्नी की बजाय अपने पात्र बच्चे को कर्मियों के निधन के बाद पारिवारिक पेंशन दिए जाने की अनुमति दी गई है।
Employees Pension : यह होगी प्रक्रिया
- ऐसे में पेंशन और पेंशनभोगी कल्याण विभाग नई जानकारी देते हुए कहा कि महिला सरकारी कर्मचारी पेंशन भोगी को कार्यालय प्रमुख को एक लिखित अनुरोध करना होगा।
- जिसमें कहा जाएगा कि चल रही कार्रवाई के दौरान उनकी मृत्यु के बाद उनके पारिवारिक पेंशन उनके पति-पत्नी से पहले उनके पात्र बच्चे को दी जानी चाहिए।
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- यदि कार्रवाई के दौरान महिला सरकारी कर्मचारी की मृत्यु हो जाती है तो पारिवारिक पेंशन नियम के अनुसार ही वितरित की जाएगी।
- आदेश में स्पष्ट किया गया है कि यदि किसी महिला कर्मचारी के जीवित रहने पर कोई पात्र बच्चा नहीं है तो पारिवारिक पेंशन विधुर को भुगतान किया जाएगा।
- ऐसे में यदि वह विधुर किसी नाबालिक बच्चे अथवा मानसिक विकार से प्रेरित बच्चे का संरक्षक है तो विधुर को पारिवारिक पेंशन तब तक भुगतान किए जाएंगे।
- जब तक वह अभिभावक बना रहेगा। हालांकि बच्चा व्यस्क को जाने के बाद पारिवारिक पेंशन के लिए पात्र हो तो पेंशन से उस बच्चों को दिया जा सकता है।
- इसके अलावा ऐसे मामले में जो मृत महिला सरकारी कर्मचारी और पेंशनर्स के विदुर हुए पति और ऐसे बच्चे हैं, जो व्यस्क और पारिवारिक पेंशन के लिए पात्र है तो पारिवारिक पेंशन बच्चों को दी जा सकती है।
- सभी पात्र बच्चों के लिए पारिवारिक पेंशन के लिए पात्र नहीं रहने के बाद वह विधुर को भुगतान होगी।
Employees Pension : जानें पहले के नियम
पहले के नियम में पारिवारिक पेंशन सरकारी कर्मचारी पेंशन भोगी के पति या पत्नी को दी जाती थी जबकि परिवार के अन्य सदस्य पति या पत्नी की मृत्यु के बाद ही पात्र बनते थे।
हालांकि, अपने संशोधन के तहत महिला सरकारी कर्मचारी-पेंशन भोगियों को अपने पति या पत्नी के स्थान पर अपने पात्र बच्चे या बच्चों को पारिवारिक पेंशन देने की अनुमति दी गई है।
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